कोरोना महामारी के बाद परिवार के लिए वित्तीय सुरक्षा प्रदान करना भारतीयों के लिए शीर्ष जीवन लक्ष्य के रूप में उभरा है और 71 प्रतिशत भारतीयों ने इसे अन्य लक्ष्यों के मुकाबले अधिक प्राथमिकता दी है। बजाज आलियांज लाइफ इंडिया के लाइफ गोल्स प्रिपेयर्डनेस सर्वे 2023 में पाया गया है कि रिटायरमेंट प्लानिंग, संतुलित जीवन शैली अपनाना और बच्चों की शिक्षा प्रदान करना जीवन के शीर्ष लक्ष्यों में शामिल है। नए फोकस क्षेत्र जैसे कॅरियर में उन्नति, विदेश यात्रा और वृद्ध माता-पिता की पर्याप्त देखभाल सुनश्चिति करना भी भारतीयों के लिए महत्वपूर्ण जीवन लक्ष्य के रूप में उभर रहा है। दिलचस्प बात यह है कि लक्ष्यों की औसत संख्या 2019 के 5 से बढ़कर 2023 में 11 हो गई। लाइफ गोल्स प्रिपेयर्डनेस इंडेक्स, जो व्यक्ति के जीवन लक्ष्यों के लिए वत्तिीय नियोजन की दिशा में आत्मवश्विास, ज्ञान और की गई कार्रवाई का एक कार्य है, 47 रहा क्योंकि महामारी के बाद भारतीयों के जीवन लक्ष्यों में वृद्धि हुई है। 71 प्रतिशत उत्तरदाताओं ने अपने परिवार की वत्तिीय सुरक्षा को जीवन का सबसे महत्वपूर्ण लक्ष्य माना है।
कोविड के बाद, 84 प्रतिशत भारतीय संतुलित जीवन जीने की इच्छा रखते हैं, जबकि 2019 में यह आंकड़ा 51 प्रतिशत था। 2 में से 1 भारतीय का कहना है कि संतुलित जीवन जीना उनके जीवन लक्ष्य की प्राथमिकता है। 3 में से 2 भारतीयों के स्वास्थ्य एवं जीवन लक्ष्यों में वर्ष 2019 के 35 प्रतिशत की तुलना में वृद्धि हुई है। उत्तरदाताओं के लिए शारीरिक और मानसिक रूप से स्वस्थ होना शीर्ष 5 जीवन लक्ष्यों में से एक है। गैर-महानगरीय क्षेत्रों में स्वास्थ्य लक्ष्यों में 33 प्रतिशत अंक का उछाल आया है। विशेष रूप से महानगरों में रहने वाले ऐसे भारतीय लोगों और युवा उपभोक्ताओं की संख्या में 2019 की तुलना में 2 गुनी वृद्धि हुई है जो यात्रा लक्ष्यों को लेकर चल रहे हैं। वेतनभोगी या व्यवसाय क्षेत्र में 10 में से 8 भारतीयों के जीवन लक्ष्य कॅरियर से जुड़े हैं, जिनकी संख्या 2019 की तुलना में 1.5 गुना अधिक है। 4 में से 1 भारतीय का जीवन लक्ष्य उच्च शक्षिा हासिल करने को लेकर है। वृद्ध माता-पिता की पर्याप्त देखभाल सुनश्चिति करने को 40 प्रतिशत उत्तरदाताओं ने प्राथमिकता वाला जीवन लक्ष्य माना है।
बजाज आलियांज लाइफ इंश्योरेंस के प्रबंध निदेशक और मुख्य कार्यकारी अधिकारी तरुण चुघ ने इस रिपोर्ट को जारी करते हुये कहा यह देखना दिलचस्प है कि भारत का लक्ष्य अपने परिवार को वत्तिीय रूप से सुरक्षित करने और संतुलित जीवन जीने के साथ-साथ जीवन में और अधिक करने की आकांक्षा जैसे महत्वपूर्ण लक्ष्यों को पूरा करने का मश्रिण हैं। यह भारत की विकास अर्थव्यवस्था के मजबूत सद्धिांतों और भारतीयों में बढ़ते आत्मविश्वास को दर्शाता है। महामारी के बाद, देश मजबूत बनकर उभरा है और एक राष्ट्र के रूप में प्रगति के लिए हमारे बुनियादी सद्धिांतों ने कई लोगों को पीछे छोड़ दिया है, जो मुझे विश्वास है कि देश की आकांक्षाओं को बढ़ावा दिया है।ह्व कंपनी के मुख्य विपणन अधिकारी चंद्रमोहन मेहरा ने कहा, महामारी ने निश्चित रूप से जीवन, कॅरियर, स्वास्थ्य और परिवार के प्रति हमारे दृष्टिकोण को आकार दिया है। विभन्नि सामाजिक-आर्थिक प्रोफ़ाइल वाले समूहों में स्वयं की देखभाल, परिवार-सुरक्षा और सामाजिक-कल्याण जैसे पहलुओं को शामिल करते हुए और अधिक करने और समग्रतापूर्ण जीवन जीने की इच्छा के बारे में गहरा अहसास दिखा है। इसके अलावा, सर्वेक्षण में एक अन्य प्रमुख बात का पता चला है कि जीवन बीमा भारत के जीवन लक्ष्यों के लिए विश्वसनीय सहारा और सक्षमकर्ता बना हुआ है।